DESK : चुनावी दौर में भी कांग्रेस का अगला प्रमुख कौन होगा, इस पर फिलहाल कोई स्पष्ट संकेत नहीं दिख रहे हैं और पार्टी ऊहापोह की स्थिति में है. दरअसल, पिछले लोकसभा चुनाव में कांग्रेस की हार के बाद राहुल गांधी ने नैतिक जिम्मेदारी लेते हुए अध्यक्ष पद से इस्तीफा दे दिया था और इसके बाद से सोनिया गांधी पार्टी के अंतरिम अध्यक्ष की जिम्मेदारी निभा रही हैं, लेकिन अब सोनिया गांधी समेत कांग्रेस के ज्यादातर नेताओं की राय है कि 2024 के लोकसभा चुनाव को देखते हुए राहुल गांधी को अध्यक्ष पद संभालना चाहिए, हालांकि राहुल गांधी की तरफ से इस पर ‘हां’ का इंतजार है.
एनडीटीवी ने अपने सूत्रों के हवाले से बताया कि राहुल गांधी को इस बात के लिए काफी प्रेरित किया गया कि वे कांग्रेस अध्यक्ष पद की भूमिका स्वीकार कर लें, लेकिन कोई भी कोशिश सफल नहीं हो सकी. 2019 के आम चुनाव में हार के बाद इस्तीफा देने के बाद से पार्टी सदस्यों की अपील को ठुकराते हुए, राहुल अपनी अनिच्छा पर अडिग रहे हैं.
सोनिया गांधी ने भी अपने स्वास्थ्य कारणों का हवाला देते हुए फिर से पार्टी अध्यक्ष की कुर्सी संभालने से इनकार कर दिया है. सूत्रों ने कहा कि सोनियां गांधी के इस फैसले ने सभी का ध्यान अब प्रियंका गांधी वाड्रा पर केंद्रित कर दिया है क्योंकि 136 साल पुराने संगठन के अधिकांश सदस्य अभी भी यही चाहते हैं कि पार्टी की अगुवाई गांधी परिवार का ही कोई सदस्य करे, लेकिन इस साल के उत्तर प्रदेश चुनावों में प्रियंका का रिकॉर्ड बेहद खराब रहा और यह कई लोगों के दिमाग में है.
आम सहमति के अभाव में रविवार से शुरू होने वाले कांग्रेस के अध्यक्ष चुनाव के कार्यक्रम पर अनिश्चितता के बादल मंडरा रहे हैं. पार्टी ने आधिकारिक तौर पर अध्यक्ष पद को लेकर बने गतिरोध पर अब तक कोई टिप्पणी नहीं की है. कांग्रेस के दिग्गज नेता भक्त चरण दास ने एनडीटीवी से कहा, ‘हां, उन्होंने (राहुल गांधी) कहा है कि उनकी कोई दिलचस्पी नहीं है, लेकिन हम उन पर काम कर रहे हैं और उनसे पदभार संभालने का अनुरोध कर रहे हैं. उन्हें हमें बताना होगा कि अगर वे पद नहीं संभालेंगे, तो फिर इस कुर्सी पर कौन बैठेगा.