DESK: बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार को लेकर लगातार बयानबाजी कर रहे राजद विधायक सुधाकर सिंह न सिर्फ जदयू, बल्कि महागठबंधन में शामिल दूसरी पार्टियों की आंखों में चूभने लगे हैं। जहां जदयू और राजद के नेताओं ने सुधाकर सिंह के खिलाफ कार्रवाई की मांग की है। वहीं अब बिहार के पूर्व मुख्यमंत्री जीतन राम मांझी ने उन्हें भगोड़ा मंत्री करार दिया है। जीतन राम मांझी ने बेगूसराय में मीडियाकर्मियों से बातचीत के दौरान कहा कि उन्हें सरकार ने मौका दिया था, लेकिन वह पैंट खोलकर भाग गए।
मांझी ने कहा कि सुधाकर सिंह हर भाषण में यह कहते हैं कि यहां हर विभाग में भ्रष्टाचार फैला हुआ है। मेरा सवाल यह है कि उन्हें मौका दिया गया कि इस भ्रष्टाचार को खत्म करने का, लेकिन वह इसे दूर करने की जगह खुद मंत्री पद से इस्तीफा दे दिया और पलायनवादी की तरह खुद पैंट खोलकर भाग गए।
वहीं, आरजेडी की ओर से उन पर कार्रवाई नहीं होने पर हम प्रमुख ने कहा कि तेजस्वी यादव का कार्रवाई ना करना, महागठबंधन में संशय उत्पन्न कर रहा है। मांझी के अनुसार, आरजेडी विधायक बीजेपी के इशारे पर काम कर रहे हैं। मांझी ने कहा कि राजद द्वारा उनके खिलाफ कार्रवाई नहीं किए जाने से लोगों में शक पैदा हो रहा है। उन्होंने कहा कि महागठबंधन ठीक-ठाक चल रहा है। राजद को तत्काल सुधाकर सिंह को पार्टी से निष्कासित करना चाहिए, ताकि सही मैसेज महागठबंधन में जा सके।
Desk: बिहार के सीएम नीतीश कुमार का एक बयान बेहद सुर्खियों में है. मीडिया से बात करते हुए बिहार के सीएम नें कहा कि अब हम बीजेपी से अलग है और आगे तेजस्वी यादव को बढ़ावा देना है. बात करने के दौरान वो तेजस्वी यादव की ओर इशारा करते हुए नजर आ रहे है.
ऐसे में कयास लगाए जा रहे है कि क्या JDU नें अपना नया उत्तराधिकारी ढूंढ लिया है या नीतीश कुमार तेजस्वी यादव को ही अपना उत्तराधिकारी बनाने का मन बना चुके है. दरअसल तेजस्वी यादव आरजेडी के भी उत्तराधिकारी है. इसी के साथ सीएम नीतीश भी उनको अपने उत्तराधिकारी के तौर पर देख रहे हैं ऐसे में कई सवाल खड़े हो रहे है.
आपको बता दें कि बिहार के कुछ सीटों पर उप चुनाव होने है. ये उप चुनाव तब हो रहे है जब प्रदेश में सत्ता परिवर्तन हो चुका है. हालांकि सीएम नीतीश कुमार ही है. पहले बीजेपी के साथ सरकार में थे लेकिन अब वो आरजेडी के साथ सरकार में है. एक सवाल के जवाब उन्होंने कहा कि अब हम बीजेपी से अलग और भाजपा हम पर कई प्रकार के हमले करने में लगी है.
RCRC Scam: बिहार के उप-मुख्यमंत्री तेजस्वी यादव की मंगलवार को दिल्ली की राउज एवेन्यू कोर्ट में पेशी हुई. पेशी के दौरान सीबीआई ने राष्ट्रीय जनता दल के नेता के दिए जवाब का विरोध किया. तेजस्वी ने सीबीआई की अर्जी पर कोर्ट में अपना जवाब दाखिल किया. सीबीआई की स्पेशल कोर्ट में जमीन के बदले नौकरी मामले की सुनवाई चल रही है. सीबीआई को जवाब देते हुए तेजस्वी यादव के वकीन ने जवाब दाखिल किया, जिसका सीबीआई ने विरोध जताया. कोर्ट में तेजस्वी यादव के वकील ने कहा, “तेजस्वी ने जो इंटरव्यू में कहा उसका इस केस से कोई लेना देना नहीं है. उन्होंने कहा, सीबीआई बात यूके की कर रही और जा रही है जापान. सीबीआई बताये कि आईआरसीटीसी केस में मैंने किस शर्त का उलंघन किया. मैं लैंड फॉर जॉब स्कैम में आरोपी नहीं हूं.”
दरअसल, बिहार के डिप्टी सीएम तेजस्वी यादव की आईआरसीटीसी घोटाला मामले में जमानत रद्द करने की याचिका पर सुनवाई हो रही है. सीबीआई ने तेजस्वी की जमानत का विरोध किया था. गौरतलब है कि इस केस में बिहार के डिप्टी सीएम और आरजेडी नेता 2018 से जमानत पर हैं. तेजस्वी के वकील ने कहा, सीबीआई की पिक एंड चूज पॉलिसी है. शर्त ये थी कि मैं गवाहों को प्रभावित नहीं करूंगा, सबूतों से छेड़छाड़ नहीं करूंगा, लेकिन सीबीआई बताए कि क्या मैंने ऐसा किया है?
CBI की कोर्ट में दलील
दरअसल, सीबीआई की कार्रवाई पर तेजस्वी यादव ने एक प्रेस कांफ्रेंस में कहा था कि क्या सीबाआई वालों के परिवार नहीं होते? उनकी मां नहीं होती या उनकी बहन नहीं होती? सीबीआई ने कोर्ट में तेजस्वी के इसी बयान को धमकी के तौर पर लेते हुए कहा, सीबीआई के जांच अधिकारियों को धमकी दी जा रही है तो आम लोगों का क्या होगा? सीबीआई ने तेजस्वी यादव के इसी बयान को बार-बार पढ़ा और कहा कि कैसे वो जांच प्रभावित करने का तरीका है.
सीबीआई ने आगे कहा, इस साल अगस्त में एक जांच अधिकारी की हत्या का प्रयास हुआ, उत्तर प्रदेश में जहां उनकी कार को ट्रक से दो बार टक्कर मारी गई. सीबीआई ने कहा इस केस जुड़े जांच अधिकारी पर हमला हुआ एक बार नहीं दो बार , लेकिन हमारे पास कोई सबूत नहीं हैं, न ही हम इसे केस में शामिल कर रहे हैं. हमने कभी तेजस्वी को गिरफ्तार करने की कोशिश भी नहीं की. लेकिन अगर वो इस स्तर पर आ जाते हैं कि जांच एजेंसी को धमकाएं तो बेल कैंसल होनी चाहिए.
DESK: करीब एक दशक तक पीएम नरेंद्र मोदी, नीतीश कुमार, कैप्टन अमरिंदर सिंह, केसीआर और ममता बनर्जी जैसे नेताओं के लिए चुनावी रणनीति बनाने वाले प्रशांत किशोर अब खुद यात्रा पर निकले हैं। गांधी जयंती के बाद से ही वह बिहार में जन सुराज यात्रा निकाल रहे हैं। इसके तहत वह 3,000 किलोमीटर की पद यात्रा पर हैं। इस दौरान वह लोगों से सीधा संवाद कर रहे हैं, उनके मुद्दों को जान रहे हैं और जनसरोकार की बात कर रहे हैं। एक तरफ वह जनता को जागरूक करते दिखते हैं तो वहीं परिवारवाद, भ्रष्टाचार जैसे मुद्दों पर तीखे हमले भी कर रहे हैं। ऐसे में हर किसी की नजर है कि आखिर सबके लिए रणनीति बनाने वाले प्रशांत किशोर खुद किस रणनीति पर काम कर रहे हैं।
नीतीश को भी नहीं छोड़ रहे पीके, जमीन टटोलने में जुटे: प्रशांत किशोर ने अब तक खुलकर ऐलान नहीं किया है कि वह चुनावी राजनीति में उतरेंगे या नहीं, लेकिन इसके संकेत जरूर दे रहे हैं। उन्होंने जिस तरह से तेजस्वी यादव की पढ़ाई से लेकर नीतीश कुमार सुशासन तक के दावों पर अटैक किया है, उससे यही संकेत मिलता है। वह जेडीयू, आरजेडी और भाजपा तीनों पर ही अटैक कर रहे हैं। बेरोजगारी, विकास और भ्रष्टाचार के मुद्दों पर ही वह बात कर रहे हैं। धर्म, जाति के समीकरणों से परे बिहार, बिहारी और उसके विकास की बात ही वह कर रहे हैं। साफ है कि प्रशांत किशोर नए नैरेटिव के साथ आना चाहते हैं और उससे पहले जमीन टटोल रहे हैं।
11 दिनों में पीके की यात्रा का मिलने लगी चर्चा: पीके की जन सुराज यात्रा की शुरुआत हुए 11 दिन ही बीते हैं, लेकिन वह चर्चा का केंद्र बनने में जरूर सफल रहे हैं। एक तरफ मीडिया की सुर्खियों में हैं तो वहीं सीएम नीतीश कुमार से लेकर अन्य सभी दल रिएक्ट भी कर रहे हैं। दार्शनिक प्लेटो का जिक्र करते हुए वह कहते हैं, ‘यदि आप सरकार के कामकाज में दिलचस्पी नहीं लेते हैं तो फिर आप मूर्खों द्वारा शासित होने को तैयार रहें।’ वह वोटरों से अपील करते हैं कि आप मोदी, लालू और नीतीश के नाम पर वोट न करें बल्कि मुद्दों और उम्मीदवार को देखकर ही मतदान करें।
DESK: पूरा देश आज महात्मा गांधी और पूर्व प्रधानमंत्री लाल बहादुर शास्त्री की जयंती मना रहा है। बापू की 251वीं जयंती के अवसर पर पूरे बिहार में उन्हें श्रद्धा सुमन अर्पित किया जा रहा है । दिल्ली के राजघाट से लेकर पटना के गांधी मैदान तक जयंती समारोह का आयोजन किया गया है।
इस बीच RJP ने जराअलग अंदाज में पूज्य बापू को श्रद्धांजलि दी है।बिहार के डिप्टी सीएम तेजस्वी यादव ने अपने टि्वटरअकाउंट पर एक खास वीडियो जारी कर महात्मा गांधी को श्रद्धा अर्पित किया है।
मई महीने में तेजस्वी जी ब्रिटिश पार्लियामेंट में संवाद और संबोधन के बाद जब लंदन में ब्रिटिश संसद के सामने पार्लियामेंट स्क्वायर में लगी राष्ट्रपिता महात्मा गांधी की ऐतिहासिक कांस्य प्रतिमा पर श्रद्धांजलि अर्पित करने गए तो उन्होंने मूर्ति को गंदा पाया। 1/2 #MahatmaGandhiJayantipic.twitter.com/U1TXJj2Cr1
यह वीडियो लंदन का है जब तेजस्वी यादव एक कार्यक्रम के सिलसिले में इंग्लैंड गए थे। जानकारी दी गई है कि मई महीने में तेजस्वी यादव ब्रिटिश पार्लियामेंट में संवाद कार्यक्रम में गए थे। संबोधन के बाद बाहर निकले और पार्लियामेंट स्क्वायर में महात्मा गांधी की ऐतिहासिक प्रतिमा के पास पहुंचे । लंदन पार्लियामेंट स्क्वायर स्क्वायर में महात्मा गांधी के कांस्य प्रतिमा लगाई गई है । तेजस्वी यादव ने बापू को श्रद्धांजलि अर्पित करने गए उन्होंने लिखा कि मूर्ति पर धूल जमे हैं। तेजस्वी यादव से देखा नहीं गया और अपना रुमाल निकाल प्रतिमा की सफाई में जुट गए। वीडियो में देख सकते हैं यादव अपने रुमाल से बापू की प्रतिमा पर लगे धूल को साफ कर रहे हैं।
AARYAA NEWS: बिहार के कृषि मंत्री सुधाकर सिंह ने अपने पद से इस्तीफा दे दिया है. उन्होंनेअपना इस्तीफा उपमुख्यमंत्री तेजस्वी यादव को सौंप दिया. राजद के प्रदेश अध्यक्ष और सुधाकर सिंह के पिता जगदानंद सिंह ने भी इस्तीफे की बात स्वीकार की है. इससे पहले कृषि मंत्री अपने बयानों को लेकर प्रदेश में खूब चर्चा में रहे हैं.
मंत्री ने बीते महीने एक सभा में अपने ही विभाग पर सवाल उठाते हुए कहा था कि कृषि विभाग में कई चोर हैं. वो चोरों के सरदार हैं. उन्होंने कहा था कि उनके ऊपर भी कई चोर हैं. हालांकि, उनके इस बयान के बाद नीतीश सरकार की खूब किरकिरी हुई थी.
हाल ही में अपने विभाग में व्याप्त भ्रष्टाचार पर सुधाकर सिंह ने कहा था कि मुझे नहीं लगता कि राज्य बीज निगम की बीज को किसान अपने खेतों में इस्तेमाल करता है. उन्होंने बीज निगम में मौजूद अधिकारियों और कर्मियों पर भ्रष्टाचार का आरोप लगाया था. उन्होंने कहा कि विभाग में कोई ऐसा अंग नहीं है जो चोरी नहीं करता है. मंत्री ने कहा था कि मैं अपने बयान से पीछे नहीं हटूंगा. जनता ने मुझे चुनकर भेजा है
DESK : बिहार की सियासत में आए तूफानी बदलाव का असर अभी भी जारी है. एक तरफ सत्ता में आई पार्टियों में जश्न का माहौल है तो दूसरी तरफ सत्ता से बेदखल हुई पार्टी विरोध जता रही है. सबसे ज्यादा खुशी राजद में झलक रही है. तेजस्वी यादव के डिप्टी सीएम के तौर पर शपथ लेने के बाद जदयू में खासा उत्साह है. तेजस्वी के घर में भी जश्न का माहौल है. इस बीच तेजस्वी यादव के बड़े भाई तेज प्रताप यादव ने बिहार में खेला होने की बात कही है.
जश्न के माहौल के बीच तेज प्रताप ने न्यूज18 से कहा कि महागठबंधन की यह सरकार जनता के हित के लिए बनी है. महागठबंधन के साथ, नीतीश कुमार के साथ हाथ मिलाया है. बिहार के विकास के लिए यह सरकार बनाई है. हम पिछले एक डेढ़ साल से कह रहे थे कि खेला होगा और आखिरकार अब खेला हो गया. बेरोजगारी दूर करेंगे हमलोग.
बता दें कि रोजगार के मुद्दे पर तेजस्वी यादव ने मुख्यमंत्री नीतीश कुमार से बात की है. डिप्टी सीएम पद की शपथ लेने के बाद इस बात की जानकारी तेजस्वी ने मीडिया को दी. तेजस्वी ने कहा कि मेरी मुख्यमंत्री नीतीश कुमार से बातचीत हुई है. अगले एक महीने में इसकी तस्वीर दिखनी शुरू हो जाएगी. उन्होंने कहा कि हमलोग मिलकर इतना रोजगार देंगे, जितना पहले कभी नहीं मिला. हमारी लड़ाई बेरोजगारी के खिलाफ है. हमारे मुख्यमंत्री गरीबों और युवाओं का दर्द समझते हैं.
DESK : बिहार की राजनीति के लिए मंगलवार का दिन काफी अहम साबित हो सकता है. सूबे में जारी सियासी हलचल के बीच एक साथ कई दलों ने अपने विधायकों की बैठक 9 अगस्त 2022 को बुलाई है, ऐसे में सभी की निगाहें इन बैठकों पर जा टिकी हैं. मंगलवार को सत्तारूढ़ जनता दल यूनाइटेड के अलावा एनडीए में उसकी सहयोगी जीतन राम मांझी की पार्टी हम के अलावा महागठबंधन के सबसे बड़े दल राजद ने अपने विधायकों की बैठक बुलाई है. तीनों पार्टियों के विधायक दल की बैठक में क्या कुछ होता है, इसको लेकर अभी से ही कयासों का दौर शुरू हो गया है.
दूसरी तरफ तेजस्वी यादव की अगुवाई वाली राजद ने भी अपने विधायकों की बैठक बुलाई है. दिन के 11 बजे से राबड़ी आवास में होने वाली इस बैठक पर भी सभी की निगाहें हैं, क्योंकि ताजा घटनाक्रम में बिहार में सत्ता परिवर्तन का दावा किया जा रहा है. साथ ही बिहार की सत्ता में तेजस्वी यादव की वापसी की भी बात कही जा रही है. बिहार की ही एक अन्य पार्टी जीतन राम मांझी की हिंदुस्तानी आवाम मोर्चा ने भी अपने विधायकों की बैठक बुलाई है. मांझी ने इसके लिए अपना दिल्ली का दौरा भी छोटा कर दिया. ऐसे में इस बात से इंकार नहीं किया जा सकता है कि बिहार की राजनीति में कुछ बड़ा होने वाला है.
कांग्रेस की बैठक
इससे पहले सोमवार को बिहार में कांग्रेस ने अपने विधायकों की बैठक की. जेडीयू की बात करें तो नीतीश कुमार अपने विधायकों और सांसदों से अलग-अलग बैठक करेंगे. दिन के 11 बजे पटना के सीएम हाउस में बैठक होने वाली है जानकारी के मुताबिक नीतीश कुमार पहले अपनी पार्टी के 16 सांसदों के साथ बैठक करेंगे इसके बाद विधायकों पर भी वर्तमान राजनीतिक हालात पर चर्चा करेंगे साथ ही उनका मंतव्य भी जानेंगे.
नया दाव
सोमवार की शाम कांग्रेस के विधायक दल की बैठक में बिहार में कांग्रेस ने नया दाव चल दिया. पार्टी ने मुख्यमंत्री नीतीश कुमार को खुले रूप से बिना शर्त समर्थन देने की घोषणा कर दी है. जनता दल युनाइटेड (जेडीयू) और बीजेपी के बीच रहे उठापटक और सरकार को लेकर चल रहे रस्साकस्सी को लेकर कांग्रेस ने यह निर्णय लिया. कांग्रेस विधायक दल के नेता अजीत शर्मा के आवास पर हुई थी. इस बैठक में बिहार कांग्रेस प्रभारी भक्त चरण दास, प्रदेश अध्यक्ष मदन मोहन झा सहित तमाम विधायक शामिल रहे थे.