देहरादून। चमोली जिले में ग्लेशियर टूटने से बीते रोज आई तबाही के बाद तपोवन-विष्णुगाड परियोजना की एक सुरंग में फंसे करीब 34 व्यक्तियों को सुरक्षित निकालने के लिए रेस्क्यू ऑपरेशन जारी है। आइटीबीपी, एसडीआरएफ, सेना, जिला प्रशासन की टीम आपरेशन में जुटी हैं। रातभर चले ऑपरेशन में सुरंग से 130 मीटर तक मलबा हटाया जा चुका है।
वहीं, मुख्यमंत्री त्रिवेंद्र सिंह रावत प्रभावित क्षेत्रों का हवाई सर्वेक्षण कर रहे हैं। बता दें कि अब भी 173 लोग लापता हैं, जबकि अभी तक 26 के शव बरामद किए जा चुके हैं। कुल लापता 202 व्यक्तियों में से और पांच व्यक्ति सोमवार को सुरक्षित लौट आए। दूसरी ओर वायुसेना ने आपदा प्रभावित क्षेत्रों में राहत सामग्री बांटने का काम प्रारंभ कर दिया।
जोशीमठ-मलारी हाइवे पर मोटरपुल टूटने से कट गए गांवों में भी राहत सामग्री का वितरण किया जा रहा है। राहत व बचाव कार्यों को तेज करने के लिए चमोली जिले को 20 करोड़ की राशि जारी की गई। केंद्रीय मंत्रियों डा रमेश पोखरियाल निशंक और आरके सिंह ने प्रभावित क्षेत्रों का दौरा किया। वहीं मुख्यमंत्री त्रिवेंद्र सिंह रावत ने सोमवार को सचिवालय में वरिष्ठ अधिकारियों के साथ आपदा राहत कार्यों की समीक्षा। शाम देर शाम मुख्यमंत्री ने तपोवन पहुंचकर राहत व बचाव कार्यों का मुआयना किया। मुख्यमंत्री रात्रि विश्राम वहीं करेंगे।