प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के सामने पूर्वांचल एक्सप्रेस वे पर एयर फोर्स के प्लेन ने हवाई करतब दिखाए।
एयरफोर्स के AN-32 मिलिट्री ट्रांसपोर्ट एयरक्राफ्ट ने पूर्वांचल एक्सप्रेस-वे पर लैंडिंग की। इसे नाटो देशों की सेनाएं लंबे समय से यूज करती आई हैं।
एक्सप्रेस वे का उद्घाटन करने के बाद सुल्तानपुर में एक्सप्रेस वे पर एयर शो देखते प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी।
पूर्वांचल एक्सप्रेस-वे पर मंगलवार को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के सामने एयरफोर्स ने इतिहास रच दिया। मोदी के सामने वायुसेना के मिराज-2000 मल्टीरोल फाइटर ने एक्सप्रेस-वे पर बनाई गई इमरजेंसी एयर स्ट्रिप पर लैंडिंग की। यहां मिराज में फ्यूल भी भरा गया। इसके बाद कमांडोज को लेकर एयरफोर्स का ट्रांसपोर्ट प्लेन AN-32 हाईवे पर उतरा। इन कमांडोज ने ऑपरेशन को अंजाम देने का नजारा भी पेश किया।
एयर शो में सुखोई, मिराज, एएन 32, सूर्यकिरण जैसे प्लेन शामिल रहे। इस एयर स्ट्रिप के बनने के बाद एक्सप्रेस वे पर 3-3 एयर स्ट्रिप वाला UP देश का पहला राज्य बन गया है। इससे पहले भारतीय वायुसेना आगरा एक्सप्रेस-वे पर मिराज 2000, जगुआर, सुखोई-30 और सुपर हरक्युलिस जैसे जहाज सफलतापूर्वक उतार चुकी है।
इससे पहले, प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने सुल्तानपुर में पूर्वांचल एक्सप्रेस-वे का लोकार्पण किया। वे हरक्युलिस विमान से किसी एक्सप्रेस वे पर पहुंचने वाले पहले प्रधानमंत्री बन गए हैं। यह UP का तीसरा रनवे वाला एक्सप्रेस-वे है, जहां लड़ाकू विमान लैंडिंग और टेक ऑफ कर सकेंगे। इससे पहले आगरा एक्सप्रेस-वे और यमुना एक्सप्रेस वे पर लड़ाकू विमान उतर चुके हैं। सुरक्षा व्यवस्था के मद्देनजर कार्यक्रम स्थल से लगभग 10 किलोमीटर के एरिया पर सुरक्षा घेरा बनाया गया। चीन से निपटने के लिए देश में तेजी से इस तरह के एक्सप्रेस-वे बनाए जा रहे हैं, जिन पर इमरजेंसी होने पर फाइटर प्लेन भी उतारे जा सकें।
एयरफोर्स के साथ-साथ सेना के जवानों ने भी शौर्य का प्रदर्शन किया। पूर्वांचल एक्सप्रेस वे से पहले आगरा एक्सप्रेस वे पर भी फाइटर प्लेन की लैंडिंग हो चुकी है। पूर्वांचल एक्सप्रेस वे यूपी का तीसरा एक्सप्रेस वे है, जिसमें फाइटर जेट भी लैंड कराए जा सकते हैं।एक्सप्रेस-वे के 3.2 किलोमीटर के एरिया को इस तरह बनाया गया है कि आपातकालीन स्थिति में यहां इमरजेंसी लैंडिंग की जा सके।341 किलोमीटर का एक्सप्रेस-वे उत्तर प्रदेश की राजधानी लखनऊ को गाजीपुर से जोड़ता है। इसकी अनुमानित लागत 22,500 करोड़ रुपए है।