Category Archives: तमिल नाडू

देश के कई राज्यों में बाढ़ से हाल बेहाल,भारत मौसम को लेकर आने वाले दिनों का ताजा अपडेट जारी किया गया

देश के कई राज्यों में बाढ़ से हाल बेहाल है। उसपर मौसम विभाग द्वारा एक बार फिर भारी बारिश को लेकर चेतावनी जारी की गई है। भारत के मौसम को लेकर आने वाले दिनों का ताजा अपडेट जारी किया गया है। बताया गया कि मध्य प्रदेश पर स्थित एक चक्रवाती परिसंचरण के कारण शनिवार को पश्चिमी उत्तर प्रदेश, दिल्ली और हरियाणा समेत उससे जुड़े राज्यों और उत्तराखंड में लगातार बारिश होती रहेगी। कहा गया कि इन क्षेत्रों में तेज बारिश और बिजली भी कड़कने की संभावना है। तदनुसार, भारत मौसम विज्ञान विभाग (IMD) ने इन सभी उपखंडों में शनिवार के लिए ऑरेंज अलर्ट जारी किया है।

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बताया गया कि मानसून ट्रफ का पश्चिमी छोर अपनी सामान्य जगह के करीब है, लेकिन पूर्वी छोर सामान्य से अधिक दक्षिण में स्थित है। जैसे-जैसे पूर्वी छोर धीरे-धीरे उत्तर की ओर बढ़ेगा, पूर्वोत्तर भारत में अगले सप्ताह बारिश तेज होगी। अगले पांच दिनों के लिए, उप-हिमालयी पश्चिम बंगाल, अरुणाचल प्रदेश, असम और मेघालय में 200 मिमी से अधिक वर्षा होने की संभावना ह इस बीच, मुंबई और आसपास के इलाकों में शनिवार तक तेज मानसूनी बारिश होने की संभावना है, जो रविवार तक ही खत्म हो जाएगी। वहीं, राजस्थान और गुजरात में अगले सप्ताह के शुरुआती दिनों में तेज बारिश के बाद मानसून गतिविधि में कमी देखी जा सकती है।इसके अलावा पंजाब और हरियाणा में सोमवार तक अधिकतम तापमान सामान्य से 2 डिग्री सेल्सियस से 8 डिग्री सेल्सियस कम रहने की संभावना है, जबकि अगले पांच दिनों तक दक्षिण-पश्चिमी प्रायद्वीप में सामान्य से अधिक तापमान रहने की संभावना है। अगले पांच दिनों तक पूरे हिमालयी क्षेत्र में रात का न्यूनतम तापमान सामान्य से अधिक रहेगा।

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कैसा रहेगा रविवार जिस दिन पड़ रहा है रक्षा बंधन का त्योहार-अरुणाचल प्रदेश और उप-हिमालयी पश्चिम बंगाल में छिटपुट बारिश और गरज के साथ व्यापक बारिश का अनुमान है।जम्मू-कश्मीर, हिमाचल प्रदेश, उत्तराखंड, पंजाब, हरियाणा, उत्तर प्रदेश, सिक्किम, असम, मेघालय, नागालैंड, मणिपुर, मिजोरम, त्रिपुरा, राजस्थान, गुजरात, मध्य प्रदेश, महाराष्ट्र, बिहार, गोवा, कर्नाटक, तेलंगाना, अरुणाचल प्रदेश, तमिलनाडु, अंडमान और निकोबार द्वीप समूह और लक्षद्वीप में छिटपुट बारिश और गरज के साथ व्यापक बारिश की संभावना है। उत्तराखंड और सिक्किम में हिमपात हो सकता है।झारखंड, छत्तीसगढ़, ओडिशा, गंगीय-पश्चिम बंगाल, केरल, लद्दाख में छिटपुट बारिश और गरज के साथ छींटे पड़ने की संभावना है। लद्दाख में भी छिटपुट बर्फबारी हो सकती है।पश्चिमी में अधिकतम तापमान 4 डिग्री सेल्सियस से ऊपर जाने की संभावना है।

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कैसा रहेगा रविवार जिस दिन पड़ रहा है रक्षा बंधन का त्योहार-अरुणाचल प्रदेश और उप-हिमालयी पश्चिम बंगाल में छिटपुट बारिश और गरज के साथ व्यापक बारिश का अनुमान है।जम्मू-कश्मीर, हिमाचल प्रदेश, उत्तराखंड, पंजाब, हरियाणा, उत्तर प्रदेश, सिक्किम, असम, मेघालय, नागालैंड, मणिपुर, मिजोरम, त्रिपुरा, राजस्थान, गुजरात, मध्य प्रदेश, महाराष्ट्र, बिहार, गोवा, कर्नाटक, तेलंगाना, अरुणाचल प्रदेश, तमिलनाडु, अंडमान और निकोबार द्वीप समूह और लक्षद्वीप में छिटपुट बारिश और गरज के साथ व्यापक बारिश की संभावना है। उत्तराखंड और सिक्किम में हिमपात हो सकता है।झारखंड, छत्तीसगढ़, ओडिशा, गंगीय-पश्चिम बंगाल, केरल, लद्दाख में छिटपुट बारिश और गरज के साथ छींटे पड़ने की संभावना है। लद्दाख में भी छिटपुट बर्फबारी हो सकती है।पश्चिमी राजस्थान में अधिकतम तापमान 4 डिग्री सेल्सियस से ऊपर जाने की संभावना है

एक्टिंग नहीं नग्नता फूहड़ता बेशर्मी है

एक्टिंग नहीं नग्नता फूहड़ता बेशर्मी है
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कहते हैं कि प्राचीन काल में एक वैश्या का नाच देखने के लिए लोग उसके खास मकान(कोठे) पर जाया करते थे। तो वो वैश्या देखने वालों को अपनी मनमोहक नृत्य शैली और कुछ अपनी फ़ूहड़ नग्नता भरी अदाओं से वाह वाही लूटती थीं। यदि उस वैश्या से पूछा जाता कि वो ये काम क्यों करती हैं ? तो 100 में से 99.99 का ये जवाब होता कि मजबूरी है। मैं मजबूर हूं अपने ये नाचने का काम नहीं करती हूं। वो मजबूरी अगर पता लगाने की कोशिश की जाती हैं तो हर किसी की एक अपनी दिल को दहलाने वाली कहानी होती थी।
परंतु आज क्या हो गया है, हमारी युवा पीढ़ी को? पता नहीं में बात कर रह हूं उन कुछ Tik Tok, Instagram, Reels, Snack Vedio, Niki, Moj वाली लड़कियों की…. जी हां मुझको पता है कि बहुत से लोगों को मेरी बात बहुत ही बुरी लग रही होगी। पर इस बात पर विचार करना भी आवश्यक है। कहना चाहूंगा उन लोगों से कि बहन बेटियो महिलाओ से, जरा अपने दिमाग पे ज़ोर डालो और सोचो कि हमारे आस पास कितनी निर्लज्जता है? क्या ये TikTok, instagram, Moj, Like, Reels सहित इस जैसे दूसरे अनेक ऐप्स इसके लिए जिम्मेदार है? यह हमारी भारतीय संस्कृति, पारिवारिक मर्यादा का उपहास है और सनातन संस्कृति का अपमान भी।

यदि बनाना ही है तो ऐसे वीडियो बनाओ जिससे हमारी युवा पीढ़ी और आने वाली पीढ़ी को कुछ अच्छा सीखने को मिले जैसे कि विज्ञान से संबंधित, सामाजिक, ऐतिहासिक, सांस्कृतिक, धार्मिक वीडियो बनाओ। उसमे भी अपनी संस्कृति और मर्यादा तथा पहनावे का ध्यान रखें ll निवेदन है कि माता पिता अपने लड़के लड़कियों की देख रेख अच्छे से करें, उनको कुछ अच्छा बनाये ना कि नचनिया। ये नचनिया हीरोइन बनने के चक्कर में सबकुछ लुटा रही हैं।

बेटी को विवाह पूर्व नौकरी करवाना अधिकांश माता पिता के लिये बना मुसीबत

एक समाजिक समस्या- कमाऊ बेटी
बेटी को विवाह पूर्व नौकरी करवाना अधिकांश माता पिता के लिये बना मुसीबत। आज अधिकांश माता पिता अपनी पुत्रियो को विवाह पूर्व नौकरी करवाकर, अपने लिये एक समस्या तैयार कर लेते है। उन्हें उनके विवाह मे जो समस्यायें आती है उसका हल निकालना उनके लिये, दुष्कर हो जाता है। समस्यायें समझिये इस प्रकार है :

1 आत्म निर्भर हो जाने के कारण अधिकांश पुत्रियाँ माँ बाप की नही मानती। अपनी पसंद का खानपान, पहनना, खाना पीना आम बात है। बडें या छोटे शहरों में सिगरेट बीयर आम बात है।
2 नौकरियो मे उनका वेतन अधिक होने से उनसे कम वेतन वाले लड़के उन्हे पसन्द नही आते। पढी लिखी और कमाऊ लडकी, कम पढ़े लिखे लड़के को लात मार देती है जबकि लड़के, अनपढ लडकियों संग सफल जिन्दगी गुजारते हैं।
3 अपने शहर हो या अन्य शहर, मे नौकरी करने के कारण उनके विजातीय लड़को से संपर्क होता ही है। जान पहचान दोस्ती के बाद रिलेशिनशिप की संभावना से इन्कार नही किया जा सकता। लोक लाज और संस्कार संस्कृति बचाना कठिन है।
4 एक बार नौकरी करने पर नौकरी छोड़ने को तैयार नही होती। जिस शहर मे नौकरी करती है उसी शहर में ही उस कार्यरत लड़की से, अधिक पेकेज वाला, उसी शहर का रहने वाला सजातीय वर चाहिये जो कि माता पिता के लिये जटिल कार्य है।
5 ऐसा अक्सर देखा गया है कि जबरन लोकलाज में विवाह हो भी जाए तो विवाह विच्छेद यानि तलाक हो जाते हैं जिसका प्रमुख कारण, अनैतिक संबंध व नशे को दिया जाता है।
6 मां बाप की शर्त को दरकिनार कर, ये कमाऊ लडकियां- दूसरे जाति प्रदेश भाषा यहां तक कि धर्म को भी ताक पर रखके, कोर्ट मैरिज करके घर में रहती है। नौकरी करती हैं। समय आने पर निकल लेती हैं।
7 कमाऊ लड़की की सभी गतिविधियों में सहायक के रूप में मां और बहन रहती है और बेचारा पिता शर्त की लिस्ट निकल लेकर, एक दरवाजे से दूसरे दरवाजे भटकता है।
ऐसे वर की तलाश मे उनकी विवाह की उम्र निकल जाती है। ऐसा वर ढूँढ़ना उन के लिये क्या किसी के लिये भी मुश्किल कार्य है।
अत: सभी माता पिता से निवेदन है कि यह निर्णय ना ले कि कन्या को कुछ वर्ष नौकरी करा ले फिर शादी करेंगे अन्यथा आप निश्चित रुप से जटिल समस्या का सामना करने को तैयार रहे। यह सुझाव आपको उस वक्त याद आयेगा जब आप भी कई लोगो की तरह अपनी पुत्री के विवाह के लिये जटिल समस्या मे फंसे होंगे। इसलिए अपनी बेटियों का विवाह समय पर करें ।
नोट- सभी शहरों में कमाने वाली हिन्दू लड़कियों से छल कपट धोखा से व नाम जाति धर्म छुपाकर, तमाम हवाई सपने दिखाकर फंसाने की टीम है। विदेशी चमक धमक गिफ्ट.. धर्मपरिवर्तन निकाह बच्चे और फिर तलाक। कमाओ और बच्चे को संभालो। 2-3 तलाक के बाद ये फिर हिन्दू पिता की संपत्ति में हिस्सा लेने आती है क्योंकि ससुराल पक्ष तो फटीचर है।

तेलंगाना हाईकोर्ट ने अपहरण के एक मामले में आरोपी एक ऑटो चालक को दोषी ठहराने को फैसले को रद करने से इनकार कर दिया

तेलंगाना हाईकोर्ट ने अपहरण के एक मामले में आरोपी एक ऑटो चालक को दोषी ठहराने को फैसले को रद करने से इनकार कर दिया था। आरोप है कि ऑटो चालक ने एक नाबालिग का अपहरण किया था और उसके पिता से दो लाख रुपए की फिरौती मांगी थी। हाईकोर्ट ने दोषी ठहराए जाने के खिलाफ आरोपी की याचिका खारिज कर दी थी। साथ ही उसे भादंसं की धारा 364ए के तहत आजीवन कारावास की सजा सुनाई थी।

कोर्ट ने कहा कि धारा-364ए (अपहरण एवं फिरौती) के तहत आरोपी को दोषी ठहराने के लिए अभियोजन पक्ष द्वारा तीन बातों को साबित करना आवश्यक है। पहली किसी व्यक्ति का अपहरण करना या उसे बंधक बनाकर रखना, अपहृत को जान से मारने की धमकी देना या मारपीट करना, अपहरणकर्ता की ओर से फिरौती के लिए दबाव डालने के लिए पीड़ित को नुकसान पहुंचाना…धारा-364ए के तहत आजीवन कारावास या फांसी की सजा का जिक्र करते हुए सुप्रीम कोर्ट ने कहा कि इस सजा के लिए पहली स्थिति के अलावा दूसरी या तीसरी स्थिति भी साबित करनी होगी। सुप्रीम कोर्ट तेलंगाना निवासी शेख अहमद की याचिका पर सुनवाई कर रही थी। याचिका में दोषी ठहराए जाने के खिलाफ अहमद की याचिका खारिज करने को चुनौती दी

गई थी। आरोप है कि ऑटो चालक अहमद ने सेंट मैरी हाईस्कूल के छठी कक्षा के छात्र को उसके घर छोड़ने के बहाने अगवा कर लिया था।

सुप्रीम कोर्ट ने एक अभूतपूर्व फैसले में कहा है कि यदि किडनैपर ने अपहृत व्यक्ति के साथ मारपीट नहीं की और उसे जान से मारने की धमकी नहीं दी और उसके साथ अच्छा बर्ताव किया है तो अपहरणकर्ता को भादंसं की धारा-364ए के तहत आजीवन कारावास की सजा नहीं दी जा सकती है। जस्टिस अशोक भूषण और जस्टिस आर सुभाष रेड्डी की पीठ ने तेलंगाना हाईकोर्ट के फैसले को रद करते हुए यह टिप्‍पणी की।

 

21 राज्यों में कम केस, आंशिक लॉकडाउन जारी,देश में बीते 24 घंटों में कोरोना के 48 हजार से अधिक मामले

केरल में अचानक बढ़े केस

केरल में अचानक कोरोना के मामलों में वृद्धि देखी जा रही है। केरल के आंकड़े डरा रहे हैं। यहां बीते दो दिनों से नए केस 13,500 से ज्यादा आ रहे हैं। इससे पहले 21 जून को यह संख्या घटकर 7,449 तक पहुंच गई थी।

इसके साथ ही देश के 21 राज्य और केंद्रशासित प्रदेश ऐसे हैं जहां कोरोना के मामलों में गिरावट आई है। इन राज्यों में आंशिक लॉकडाउन है। यहां पाबंदियां के साथ छूट भी है। इनमें बिहार, दिल्ली, महाराष्ट्र, राजस्थान, उत्तर प्रदेश, मध्यप्रदेश, हरियाणा, पंजाब, जम्मू-कश्मीर, लद्दाख, उत्तराखंड, अरुणाचल प्रदेश, सिक्किम, मेघालय, नगालैंड, असम, मणिपुर, त्रिपुरा, आंध्र प्रदेश और गुजरात शामिल हैं।

देश के दस राज्य ऐसे हैं जहां कोरोना संक्रमण के मामलों में कमी नहीं आ रही है। देश के इन 10 राज्यों में पूर्ण लॉकडाउन जैसी पाबंदियां हैं। इनमें पश्चिम बंगाल, हिमाचल प्रदेश, झारखंड, छत्तीसगढ़, ओडिशा, कर्नाटक, तमिलनाडु, मिजोरम, गोवा और पुडुचेरी शामिल हैं। यहां लॉकडाउन जैसे कड़े प्रतिबंध लगाए गए हैं।

देश में कोरोना महामारी की स्थिति में धीरे-धीरे सुधार जारी है। देश में अब कोरोना के रोजाना मामले 50 हजार से कम हो चुके हैं तो वहीं मौतों की संख्या भी एक दिन में हजार तक हो गई है। केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय के ताजा आंकड़ों के मुताबिक, देश में बीते 24 घंटों में कोरोना वायरस संक्रमण के 48,786 नए मामले सामने आए हैं। इस दौरान देश भर में कोरोना संक्रमण के कारण 1005 मरीजों की मौत हुई है।

इसके साथ ही देश में कोरोना से ठीक होने वाले मरीजों की संख्या भी बढ़ रही है। कोरोना के सक्रिय मामले भी लगातार कम हो रहे हैं। देश में बीते 24 घंटों में 61588 लोग कोरोना ठीक हुए है। इस तरह एक्टिव केस, यानी इलाज करा रहे मरीजों की संख्या में भी बीते एक दिन में 13,807 की कमी आई है।

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Corona Virus India | जानिए अपने राज्य कि कोरोना वायरस कि ताज़ा खबर | Covid Update

कोर्ट ने राष्ट्रीय आपदा प्रबंधन अधिकरण (NDMA) को COVID-19 से जान गंवाने वाले लोगों के परिजनों को आर्थिक मदद के लिए दिशा-निर्देश जारी करने के निर्देश दिए

#सुप्रीम कोर्ट ने कहा कि COVID-19 से जान गंवाने वाले लोगों के परिजन मुआवजे के हकदार#कोर्ट ने राष्ट्रीय आपदा प्रबंधन अधिकरण (NDMA) को COVID-19 से जान गंवाने वाले लोगों के परिजनों को आर्थिक मदद के लिए दिशा-निर्देश जारी करने के निर्देश दिए#

सुप्रीम कोर्ट में कोविड-19 के कारण मरने वालों के परिजनों के लिए मुआवजे की मांग वाले मामले पर बुधवार को जस्टिस अशोक भूषण की अगुवाई वाली तीन जजों की बेंच ने अपना फैसला सुनाया। कोर्ट ने राष्ट्रीय आपदा प्रबंधन अधिकरण (NDMA) को COVID-19 से जान गंवाने वाले लोगों के परिजनों को आर्थिक मदद के लिए दिशा-निर्देश जारी करने के निर्देश दिए। सुप्रीम कोर्ट ने कहा कि COVID-19 से जान गंवाने वाले लोगों के परिजन मुआवजे के हकदार हैं।

NDMA को 6 सप्ताह का समय देते हुए कहा गया है कि यह राज्यों को इस बारे में निर्देश दे। कोर्ट ने मामले में मुआवजा तय करना NDMA का वैधानिक कर्तव्य बताया और कहा कि इसके लिए रकम तय करना सरकार का काम है क्योंकि उसे कई और आवश्यक खर्चे भी हैं। इसके अलावा कोर्ट ने मृत्यु प्रमाण पत्र के लिए भी आसान प्रक्रिया बनाने की बात कही है।

इससे पहले केंद्रीय गृह मंत्रालय की ओर से कोर्ट को बताया गया था कि कोविड-19 के कारण मरने वालों के परिजनों को 4 लाख रुपये का मुआवजा देना संभव नहीं क्योंकि सरकार के पास सीमित संसाधन है। मंत्रालय ने कहा था कि ऐसे यदि मुआवजे की राशि दी जाती है तो सरकार का आपदा राहत कोष खाली हो जाएगा। इससे अन्य राहत कार्यों व फैसलेे पर असर होगा। सरकार ने कोर्ट में हलफनामा दायर किया था जिसमें कहा गया कि दुर्लभ संसाधनों का मुआवजा देने के लिए इस्तेमाल करने से, महामारी के खिलाफ कदमों और दूसरे मामलों में स्वास्थ्य पर खर्च प्रभावित हो सकता है।

एडवोकेट गौरव कुमार बंसल  और रीपक कंसल  द्वारा दर्ज याचिकाओं पर सुप्रीम कोर्ट ने यह आदेश दिया है। बंसल ने आपदा प्रबंधन अधिनियम (DMA) के सेक्शन 12 (iii) का हवाला दिया और मुआवजे की मांग की। इसमें कहा गया है कि राष्ट्रीय अधिकरण को आपदा के कारण प्रभावित हुए लोगों को राहत के न्यूनतम मापदंडों के लिए दिशानिर्देश की सिफारिश करनी चाहिए, जिसमें मुआवजा शामिल हो।

चुनाव आयोग का बड़ा फैसला, मतगणना के बाद विजय जुलूसों पर लगाया प्रतिबंध

नई दिल्ली। देश में कोरोना वायरस के बढ़ते मामलों के बीच भारत निर्वाचन आयोग ने बड़ा फैसला लिया है। चुनाव आयोग ने घोषणा की है कि 2 मई से विधानसभा चुनाव की जीत के जश्न पर पाबंदी होगी। यानी पश्चिम बंगाल, केरल सहित जिन 5 राज्यों में चुनाव हुए हैं, उनके नतीजे 2 मई को आने वाले हैं। लेकिन काउंटिंग शुरू होने के बाद राजनीतिक पार्टियां चुनाव जीतने के बाद जश्न, रैली, विजय जुलूसों इत्यादि नहीं निकाल पाएंगी। चुनाव के बाद की इन सारी गतिविधियों पर चुनाव आयोग ने प्रतिबंध लगा दिया है।

बता दें कि तमिलनाडु, असम, केरल और पुडुचेरी में विधानसभा चुनाव हो चुके हैं तो वहीं पश्चिम बंगाल में अभी एक चरण के लिए वोटिंग होनी है। इन सभी राज्यों में हुए वोटिंग के नतीजे 2 मई को आएंगे। ऐसे में कोरोना का प्रसार भी देश में काफी तेजी के साथ देखा जा रहा है। जिसको देखते हुए चुनाव आयोग ने मतगणना के दिन या फिर उसके बाद होने वाले विजय जुलूस पर प्रतिबंध लगा दिया है। यह कदम कोरोना के प्रसार को रोकने के लिए उठाया गया है।

कोरोना का संकट पिछले कुछ दिनों में तेजी से बढ़ा है। इस बीत हो रही चुनावी रैलियों को लेकर लगातार सवाल खड़े किए जा रहे थे। बता दें कि बंगाल में सातवें चरण के मतदान से पहले चुनाव आयोग ने बड़ी रैलियों, रोड शो और पद यात्रा पर प्रतिबंध लगा दिया था, राजनीतिक दलों से वर्चुअल सभाएं करने की अपील की थी।

विपक्ष पर बरसे PMMODI, कहा- डीएमके गठबंधन की सरकार बनी तो बढ़ जाएंगे महिलाओं के अपमान के मामले  

नई दिल्ली। तमिलनाडु के धारापुरम में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने मंगलवार को एक चुनावी जनसबा को संबोधित किया। इस दौरान प्रधानमंत्री कांग्रेस, डीएमके और लेफ्ट गठबंधन पर जमकर निशाना साधा। उन्होंने कहा कि अगर तमिलनाडु में डीएमके गठबंधन की सरकार बनी तो यहां महिलाओं के अपमान के मामले बढ़ जाएंगे।

पीएम मोदी ने कहा कि भारत को तमिलनाडु की संस्कृति पर बहुत गर्व है। मेरी जिंदगी का सबसे खुशी का पल तब था, जब मुझे दुनिया की सबसे पुरानी भाषा तमिल में संयुक्त राष्ट्र में कुछ शब्द कहने का मौका मिला। उन्होंने कहा कि एक तरफ एनडीए का विकास का एजेंडा है और दूसरी तरफ कांग्रेस और डीएमके का वंशवाद का एजेंडा है। उनके नेताओं के भाषण में आपको देने के लिए कुछ भी सकारात्मक नहीं है। वो मुश्किल से अपने विजन और काम की बात करते हैं।

पीएम मोदी ने कहा कि मैं आज यहां से कांग्रेस और डीएमके को कहना चाहता हूं कि कृपया अपनी पार्टी के नेताओं को काबू में रखो। मैं कांग्रेस और डीएमके को बताना चाहता हूं कि तमिलनाडु के लोग हर चीज पर गौर कर रहे हैं, वो राज्य की म​हिला का अपमान कभी बर्दाश्त नहीं करेंगे। उन्होंने कहा कि कल पश्चिम बंगाल में एक बुजुर्ग महिला शोवा मजूमदार की जान चली गई। कुछ हफ़्ते पहले हम सबने देखा कि TMC के गुंडों ने क्रूरता से उन पर हमला किया क्योंकि उनकी विचारधारा अलग थी। ये लंबे समय तक समाचारों में रहा लेकिन क्या कांग्रेस ने सहानुभूति जताई? क्या DMK और लेफ्ट ने निंदा की?