26 दिनों से दिल्ली चारों तरफ से घिरी हुई है। किसानों का केंद्र सरकार के कृषि कानून के खिलाफ धरना प्रदर्शन लगातार जारी है। किसानों का कहना है कि जब तक सरकार उनकी मांगे पूरी नहीं करेगी तब तक के सीमाओं पर डटे रहेंगे।
आज से अगले तीन दिनों तक सभी धरना स्थलों पर 11-11 किसान अनशन पर बैठेंगे। किसानों ने 27 दिसंबर को ‘मन की बात’ के दौरान थाली बजाने की अपील की । अब किसानों ने अपनी मांगों को लेकर सख्त रुख अपनाने का निर्णय लिया है। अगले एक सप्ताह तक अलग-अलग तरीकों से किसान केंद्र के कृषि कानून के खिलाफ विरोध प्रदर्शन करेंगे।
सोमवार से बुधवार तक सभी धरना स्थलों पर 11-11 किसान अनशन पर बैठेंगे। साथ ही 26-27 दिसंबर को जहां एक तरफ हरियाणा के सभी टोल प्लाजा को फ्री किया जाएगा तो दूसरी तरफ कॉरपोरेट घराने के सभी खाद्य उत्पादों का किसान बहिष्कार करेंगे। 27 दिसंबर को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ‘मन की बात’ का कार्यक्रम करेंगे इसी दौरान किसान देश भर में थाली, ताली के शोर में उनकी आवाज को दबाने की कोशीश करेंगे।
सिंघु बॉर्डर पर किसान नेता राकेश टिकैत, दर्शन पाल सहित अन्य नेताओं ने संवाददाताओं को संबोधित किया और कहा कि प्रधानमंत्री मन की बात नहीं जन की बात करें।इतना ही नहीं राकेश टिकैत ने केंद्र सरकार पर निशाना साधते हुए कहा कि भाजपा ओछी हरकत कर रही है। किसानों के नाम अनुयायिओं को पैसे देकर रैली निकलवा रही है। किसानों को 50 लाख के मुचलके भरवा रही है। हम इससे डरने वाले नहीं हैं।