bihar : बिहार में शराब पीने से मौत के बाद यूपी में भी अलर्ट है। औरैया के पछैया बस्ती में शुक्रवार की सुबह पांच बजे आबकारी व कोतवाली पुलिस नाटकीय ढंग से छापेमारी को पहुंची। घरों के अंदर जमीन में दबी शराब को निकाला गया। वहीं शराब बनाने को रखी 500 लीटर लहन नष्ट की। हमेशा की तरह टीम इस बार भी शराब बनाने वालों को न पकड़ सकी। न ही नए नियम के तहत जुर्माना लगाया गया।
शहर की पछैया बस्ती में खुलेआम कच्ची शराब को बनाया जाता है। सब आबकारी विभाग व पुलिस की मिलीभगत से होता है। जब कहीं शराब से मौत के बाद अलर्ट जारी होता है, तो आबकारी विभाग ऐसी कार्रवाई करके गुड वर्क कर लेती है और पूरे साल शराब का कारोबार चलता रहता है। स्थानीय लोगों की माने तो हर महीने लाखों का कारोबार है। यहां बिकती है और कई कस्बों व गांव में बिकने को जाती है।
घर से करीब 500 किलो लहन बरामद
आबकारी विभाग को बाकायदा महीने पर जाता है। शुक्रवार की सुबह आबकारी टीम ने फिर नाटकीय खेल किया। पुलिस ने बस्ती के कई घरों पर छापा मारा। इस दौरान एक घर से करीब 500 किलो लहन मिला। शराब की भट्ठी को गन्दी जगह और धरती के नीचे दबा कर रखा गया था। हमेशा की तरह इस बार भी पुलिस के पहुंचने से पहले ही आरोपी मौके से फरार हो गए।
अब इसलिए नहीं पकड़े जाते आरोपी
पहले आबकारी अधिनियम की धारा 60 जमानती अपराध की श्रेणी में आती थी, जिसका शराब माफिया फायदा उठाते थे। आबकारी टीम छापेमारी में पकड़ती और आरोपी थाने से ही मुचलका पर छूट जाता था। 2018 में आबकारी अधिनियम की धारा 60 (क) को गैर जमानती अपराध की श्रेणी में डाला गया। पुलिस इसके साथ धारा 272 और 273 भी लगाती है, जिसमें उम्रकैद की सजा है। इसलिए विभाग कोई गिरफ्तारी नहीं दिखती सभी छापेमारी में आरोपी फरार ही रहते हैं। अगर गिरफ्तारी हो यह धंधा बन्द हो जाएगा और आबकारी विभाग की मोटी कमाई भी बंद। इसलिए यह नाटकीय छापेमारी जारी रहती हैं।